छत्तीसगढ़

कांग्रेस ने हमेशा महिलाओ को अपमानित किया है : लक्ष्मी राजवाड़े

रायपुर। महिला-बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े ने महिलाओं का अपमान करने वाली कांग्रेस नेताओं की टिप्पणियों को मानसिक दीवालियापन की पराकाष्ठा बताया है। श्रीमती राजवाड़े ने कहा कि देश और छत्तीसगढ़ की मातृ-शक्ति कांग्रेसियों की बदजुबानी का एक बार फिर से करारा जवाब देगी।

मंत्री राजवाड़े ने कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला के उस बयान की कटु निंदा की, जिसमें हरियाणा की एक चुनावी सभा में वे अभिनेत्री और मथुरा की भाजपा सांसद हेमामालिनी पर अभद्र टिप्पणी करते हुए यह कहते सुने और देखे जा रहे हैं कि “एमएलए/एमपी क्यों बनाते हैं? ताकि वो हमारी आवाज़ उठा सकें, हमारी बात मनवायें, इसीलिए बनाते हैं। कोई हेमामालिनी तो है नहीं, जो चाटने के लिए बनाते हैं?” इससे पहले कांग्रेस की सोशल मीडिया हेड और प्रवक्ता, जो स्वयं महिला हैं, सुप्रिया श्रीनेत ने 25 मार्च को भाजपा प्रत्याशी और प्रसिद्ध अभिनेत्री कंगना राणावत के खिलाफ टिप्पणी करते हुए बाजारू बताया और छोटे काशी की तुलना महिलाओं की मंडी से की।

उन्होंने कहा कि यूँ तो कांग्रेस ने हमेशा नारी शक्ति को कदम-कदम पर अपमानित करने का कलंकित कृत्य किया है, लेकिन पिछले विधानसभा चुनाव में तीन राज्यों की करारी पराजय और आगामी लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की साफ नजर आ रही हार से बौखलाए कांग्रेस के लोग अब अपनी वाणी का संयम खोते जा रहे हैं। श्रीमती राजवाड़े ने कहा कि एक ओर जहाँ भारतीय जनता पार्टी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में भाजपा की केंद्र व छत्तीसगढ़ सरकार नारी शक्ति और महतारी वंदन योजनाएँ क्रियान्वित करके महिलाओं के सामाजिक, पारिवारिक, आर्थिक और राजनीतिक सशक्तीकरण की दिशा में ठोस व सार्थक पहल कर रही है, वहीं कांग्रेस के तथाकथित बुद्धिजीवी प्रवक्ता और नेता महिलाओं के प्रति शर्मनाक टिप्पणी करने से बाज नहीं आ रहे हैं।

महिला-बाल विकास मंत्री ने कहा कि महिला सशक्तीकरण की दुहाई देते रहने वाली कांग्रेस का इससे अधिक पाखंड और क्या हो सकता है कि  नेताओं के साथ-साथ कांग्रेस की नेत्रियों ने भी मौका मिलने पर न केवल महिलाओं के आत्म-सम्मान को लहूलुहान करने का कृत्य किया बल्कि महिलाओं के महिलाओं के साथ किए गए जघन्य अपराधों को लेकर अपने नेताओं का शर्मनाक बचाव तक किया। श्रीमती राजवाड़े ने कहा कि आज कांग्रेस एक लाख रुपए सालाना देने के चाहे जितने ढोल पीट ले, अब मातृ-शक्ति उस कांग्रेस के झाँसे में कतई नहीं आने वाली है, जिसके नेता महिलाओं के प्रति निम्न स्तर की मानसिकता का परिचय देते रहे हैं, आपराधिक वारदात तक को अंजाम देने में जरा भी नहीं हिचकते रहे हैं।

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