छत्तीसगढ़

पीसीपीएनडीटी एक्ट के क्रियान्वयन के लिए मितानिनों-स्वसहायता समूहों को जागरूक करें : उप मुख्यमंत्री सिंहदेव

रायपुर। उप मुख्यमंत्री तथा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री टी.एस. सिंहदेव ने राज्य में पीसीपीएनडीटी एक्ट के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए मितानिनों और स्वसहायता समूहों की महिलाओं को जागरूक करने को कहा है। उन्होंने कहा कि ये दोनों वर्ग महिलाओं से सीधे जुड़े होते हैं और इस एक्ट के पालन में वे महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। उन्होंने एक्ट के प्रावधानों का व्यापक प्रचार-प्रसार करने को भी कहा। उप मुख्यमंत्री सिंहदेव ने शुक्रवार को नवीन विश्राम भवन में आयोजित पीसीपीएनडीटी एक्ट के राज्य पर्यवेक्षक मंडल की बैठक में ये निर्देश दिए।

पीसीपीएनडीटी एक्ट के राज्य पर्यवेक्षक मंडल की बैठक में मंडल में शामिल नए सदस्यों का स्वागत किया गया। पीसीपीएनडीटी एक्ट के संयुक्त संचालक डॉ. प्रशांत श्रीवास्तव ने बैठक में बताया कि राज्य में संचालित 51 एफआरयू (First Referral Unit) में से 40 संस्थाओं में सोनोग्राफी मशीन उपलब्ध हैं। शेष 11 संस्थाओं में छत्तीसगढ़ मेडिकल सर्विसेस कॉर्पोरेशन के माध्यम से मशीनों की आपूर्ति प्रक्रियाधीन है। डॉ. श्रीवास्तव ने बताया कि पीसीपीएनडीटी एक्ट के तहत पिछले कैलेंडर वर्ष 2022 में जनवरी से दिसम्बर के बीच कुल 960 सोनोग्राफी सेंटर्स का निरीक्षण किया गया है। चालू वित्तीय वर्ष 2023-24 की पहली तिमाही में अप्रैल से जून के बीच 586 सेंटर्स का निरीक्षण किया गया है।

राज्य पर्यवेक्षक मंडल की बैठक में सदस्यगण विधायक श्रीमती उत्तरी जांगड़े और श्रीमती छन्नी साहू, स्वास्थ्य विभाग की अपर मुख्य सचिव श्रीमती रेणु जी. पिल्लै, सचिव सिद्धार्थ कोमल परदेशी, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संचालक भोसकर विलास संदिपान, चिकित्सा शिक्षा विभाग के संचालक डॉ. विष्णु दत्त, स्वास्थ्य विभाग के उप संचालक डॉ. महेन्द्र सिंह, एम्स (AIMS) रायपुर के डॉ. अतुल जिंदल, डॉ. अशोक भट्टर, डॉ. सुधीर शुक्ला, डॉ. रवि चौबे और गैर-सरकारी संगठनों के प्रतिनिधि मौजूद थे।

 

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