छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ की नारी-शक्ति पर केंद्रित पुस्तक ‘कोसलपुत्री’ के  सहित चार अन्य पुस्तकों का विमोचन

रायपुर। जय जोहार साहित्य एवं संस्कृति संस्थान एवं वैभव प्रकाशन, रायपुर के संयुक्त तत्वावधान में छत्तीसगढ़ की नारी-शक्ति पर केंद्रित पुस्तक ‘कोसलपुत्री’ के  सहित चार अन्य पुस्तकों का विमोचन किया गया। इस अवसर पर प्रदेश की 108 विशिष्ट महिला नेत्रियों को सम्मानित किया गया। जिनमें बस्तर की गौरवशाली बेटी और युवा आइकॉन अपूर्वा त्रिपाठी को उनके अद्वितीय कार्यों के लिए विशेष सम्मान प्रदान किया गया।

समारोह की मुख्य अतिथि प्रख्यात समाजसेवी कौशल्या साय ने कहा कि “महिलाओं को अपनी सुरक्षा, स्वाभिमान और स्वतंत्रता के लिए स्वयं सजग रहना होगा। आज छत्तीसगढ़ की महिलाएं जीवन के हर क्षेत्र में अपनी पहचान स्थापित कर रही हैं। घर-परिवार के साथ ही राज्य की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण में उनकी सक्रियता सराहनीय है।” उन्होंने अपने कई प्रेरक संस्मरण भी साझा किए।

समारोह की अध्यक्षता छत्तीसगढ़ साहित्य अकादमी के अध्यक्ष शशांक शर्मा ने की। उन्होंने कहा, “छत्तीसगढ़ साहित्य की दृष्टि से अत्यंत उर्वरा भूमि है। ‘कोसलपुत्री’ जैसी पुस्तकें गहन शोध के पश्चात तैयार की जाती हैं, जो केवल साहित्य नहीं, प्रमाणिक इतिहास की तरह भी मूल्यवान हैं।”

इस गरिमामय आयोजन में छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों से आई लेखिकाओं की गरिमामयी उपस्थिति रही। कोंडागांव की प्रसिद्ध लेखिका और कवयित्री डॉ. रश्मि विपिन अग्निहोत्री को उनके आलेख ‘बस्तर बाला: युवा आइकॉन अपूर्वा त्रिपाठी’ हेतु कोसलपुत्री रचनाकार सम्मान प्रदान किया गया। डॉ. रश्मि अब तक 38 साझा संकलनों की लेखिका रह चुकी हैं। 

विमोचन समारोह में पद्मश्री शमशाद बेगम, उषा बारले, तथा बस्तर बाला अपूर्वा त्रिपाठी सहित कुल 108 महिला प्रतिभाओं को सम्मानित किया गया जिन्होंने विविध क्षेत्रों में छत्तीसगढ़ को राष्ट्रीय पटल पर गौरवान्वित किया है।विशिष्ट अतिथि छत्तीसगढ़ राजभाषा आयोग की सचिव अभिलाषा बेहार ने लेखिकाओं को आत्मनिर्भर बनने हेतु प्रेरित किया। विशिष्ट अतिथि डॉ. रश्मि लता मिश्रा ने साहित्य और संगीत के समन्वय पर बल दिया।

समारोह की शुरुआत में संयोजक डॉ. सीमा निगम और डॉ. सुधीर शर्मा ने स्वागत भाषण प्रस्तुत किया। डॉ. रमेंद्र नाथ मिश्र और डॉ. महेंद्र ठाकुर की उपस्थिति में द्वितीय सत्र संपन्न हुआ। संचालन शुभ्रा ठाकुर, डॉ. सीमा अवस्थी और सुमन बाजपेयी ने संयुक्त रूप से किया।

संस्था की अध्यक्ष डॉ. सीमा निगम ने कहा कि “छत्तीसगढ़ में इस प्रकार का आयोजन पहली बार हुआ है, जिसमें राज्य की विशिष्ट महिला प्रतिभाओं पर केंद्रित ‘कोसलपुत्री’   दो भागों में प्रकाशित किया गया है। इसे छत्तीसगढ़ की महिला रचनाकारों ने गहन शोध कर तैयार किया है। साहित्यिक जगत को आशा है कि यह संग्रह भविष्य में पाठ्यक्रम में शामिल कर व्यापक लाभ प्रदान करेगा।”

Show More

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button