
रायपुर। प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए एक महत्वपूर्ण सरकारी योजना है। इसका मुख्य लक्ष्य माताओं को आर्थिक सहायता देना है, ताकि वे गर्भावस्था के दौरान अपने और अपने बच्चे के पोषण का सही ध्यान रख सकें। यह योजना काम पर न जा पाने की स्थिति में होने वाले वेतन के नुकसान को भी पूरा करती है, जिससे कुपोषण जैसी समस्याओं को कम किया जा सके।
यह योजना न केवल आर्थिक मदद देती है, बल्कि यह भी सुनिश्चित करती है कि गर्भवती महिलाओं को समय पर स्वास्थ्य जाँच, टीकाकरण और अच्छा पोषण मिल सके। इस योजना के तहत, पहले बच्चे के जन्म पर ₹5,000 और अगर दूसरी संतान लड़की हो तो ₹6,000 की वित्तीय सहायता दी जाती है।
एक वास्तविक उदाहरण
गौरेला-पेंड्रा-मरवाही जिले की कमला इस योजना का एक बेहतरीन उदाहरण हैं। गर्भावस्था के दौरान, उन्होंने एक आंगनवाड़ी कार्यकर्ता की मदद से इस योजना में अपना पंजीकरण कराया। उन्हें पहली किस्त में ₹3,000 मिले, जिसका उपयोग उन्होंने पौष्टिक भोजन और दवाएँ खरीदने के लिए किया। प्रसव के बाद, अस्पताल में डिलीवरी और बच्चे के टीकाकरण के बाद उन्हें दूसरी किस्त में ₹2,000 और मिले। कुल मिलाकर ₹5,000 की मदद से कमला और उनके शिशु की अच्छी देखभाल हो पाई।
कमला ने योजना के प्रति अपनी ख़ुशी ज़ाहिर करते हुए कहा, “इस योजना ने न केवल मुझे आर्थिक रूप से मदद की, बल्कि सही समय पर स्वास्थ्य जाँच और पोषण संबंधी जानकारी भी दी। मैं चाहती हूँ कि हर ज़रूरतमंद महिला को इस योजना का लाभ मिले।”
यह योजना, जो 2017 में शुरू हुई थी, अब तक लाखों महिलाओं की मदद कर चुकी है। यह मातृ और शिशु मृत्यु दर को कम करने के साथ-साथ महिलाओं और बच्चों के स्वास्थ्य और पोषण को बेहतर बनाने में एक बड़ा कदम है।