श्रम सुधारों का ऐतिहासिक कदम : श्रमिकों के लिए नए युग की शुरुआत

रायपुर। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने देश में चार श्रम संहिताओं (Labour Codes) के ऐतिहासिक क्रियान्वयन के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया के दूरदर्शी नेतृत्व की हृदय से सराहना की है।
40 करोड़ से अधिक श्रमिकों के लिए अभूतपूर्व गारंटी
मुख्यमंत्री श्री साय ने इस महत्वपूर्ण निर्णय को देश के 40 करोड़ से अधिक श्रमिकों के लिए अधिकार, सुरक्षा, सामाजिक सम्मान और आर्थिक सशक्तिकरण की एक अभूतपूर्व गारंटी बताया है। उन्होंने कहा कि आज का दिन भारत के श्रम क्षेत्र के इतिहास में एक मील का पत्थर है।
मुख्य प्रावधान और लाभ
इन चारों श्रम संहिताओं के लागू होने से पूरे देश में निम्नलिखित प्रमुख व्यवस्थाएँ सुनिश्चित होंगी:
न्यूनतम वेतन का अधिकार: प्रत्येक श्रमिक को न्यूनतम वेतन की कानूनी गारंटी मिलेगी।
महिलाओं को समान वेतन: कार्यस्थल पर महिलाओं को पुरुषों के समान वेतन का प्रावधान।
फिक्स्ड टर्म कर्मचारियों को ग्रेच्युटी: निश्चित अवधि के लिए कार्यरत कर्मचारियों को भी ग्रेच्युटी का लाभ।
सामाजिक सुरक्षा: प्रत्येक श्रमिक के लिए सामाजिक सुरक्षा का कवच।
स्वास्थ्य सुविधा: श्रमिकों के लिए मुफ्त स्वास्थ्य जांच की सुविधा।
ओवरटाइम पर डबल वेतन: ओवरटाइम करने पर दोगुना वेतन की व्यवस्था।
श्री साय ने जोर देकर कहा कि ये प्रावधान न केवल श्रमिक वर्ग को सीधे लाभ पहुँचाएंगे, बल्कि देश के औद्योगिक वातावरण को अधिक पारदर्शी, संतुलित और श्रमिक-हितैषी बनाएंगे।
समावेशी और आत्मनिर्भर भारत की दिशा में बड़ा कदम
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी का समावेशी और आत्मनिर्भर भारत का संकल्प, इन श्रम संहिताओं के माध्यम से एक बड़ा परिवर्तनकारी कदम उठा रहा है। उन्होंने बताया कि भारत की कार्यशील जनसंख्या ही राष्ट्र की उत्पादन शक्ति और आर्थिक समृद्धि की आधारशिला है। उनके अधिकारों का संरक्षण किसी भी सशक्त राष्ट्र की सर्वोच्च प्राथमिकता होनी चाहिए। ये संहिताएँ देश की श्रम शक्ति को अधिक सुरक्षित, सम्मानजनक और सशक्त वातावरण प्रदान करेंगी।
आभार और भविष्य की उम्मीद
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा, कल्याण और सामाजिक सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने के इस निर्णय के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी और केंद्रीय मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया जी के प्रति गहरा आभार व्यक्त किया।
उन्होंने विश्वास जताया कि ये सुधार नई अर्थव्यवस्था, बेहतर औद्योगिक संबंधों और एक मजबूत श्रम बाजार का आधार साबित होंगे। इन श्रम संहिताओं के प्रभावी क्रियान्वयन से देशभर में रोजगार, उत्पादन, निवेश और औद्योगिक विकास की गति और अधिक मजबूत होगी, जिससे भारत की वैश्विक प्रतिस्पर्धात्मक क्षमता में भी वृद्धि होगी।
















