आज का हिन्दू पंचांग

हिन्दू पंचांग
दिनांक – 21 जुलाई 2023
दिन – शुक्रवार
विक्रम संवत् – 2080
शक संवत् – 1945
अयन – दक्षिणायन
ऋतु – वर्षा
मास – अधिक श्रावण
पक्ष – शुक्ल
तिथि – तृतीया सुबह 06:58 तक तत्पश्चात चतुर्थी
नक्षत्र – मघा सुबह 01:58 तक तत्पश्चात पूर्वाफाल्गुनी
योग – व्यतिपात दोपहर 12:24 तक तत्पश्चात वरियान
राहु काल – सुबह 11:06 से 12:46 तक
सूर्योदय – 06:05
सूर्यास्त – 07:26
दिशा शूल – पश्चिम दिशा में
ब्राह्ममुहूर्त – प्रातः 04:40 से 05:23 तक
निशिता मुहूर्त – रात्रि 12:25 से 01:08 तक
व्रत पर्व विवरण – विनायक चतुर्थी, व्यतिपात योग (दोपहर 12:24 तक)
विशेष – तृतीया को परवल खाना शत्रुओं की वृद्धि करने वाला है। चतुर्थी को मूली खाने से धन का नाश होता है । (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
पंचमहाभूतों के तन्मात्रों की रचना
पंचमहाभूतों के सात्त्विक तन्मात्र से मन और ज्ञानेन्द्रियाँ बनती हैं, राजस तन्मात्र से कर्मेन्द्रियाँ और प्राण बनते हैं तथा तामस तन्मात्र से विषय और बाह्य पदार्थ बनते हैं ।
मन चार प्रसिद्ध हैं : मन, बुद्धि, चित्त, अहंकार । इसीको अंत:करण-चतुष्टय कहते हैं ।
ज्ञानेन्द्रियाँ पाँच है : श्रोत (कान), त्वक (त्वचा), चक्षु (नेत्र), रसना (जिव्हा) और घ्राण (नासिका) ।
कर्मेन्द्रियाँ पाँच है : वाक्, पाणि (हाथ), पाद (पैर), उपस्थ (जननेंद्रिय) और पायु (गुदा) ।
प्राण दस है : इनमें पाँच मुख्य प्राण है – प्राण, अपान, समान, उदान और व्यान ।
पाँच उपप्राण हैं – नाग, कूर्म, कृकल, देवदत्त और धनंजय ।
बाल काले व मजबूत बनाने की युक्तियाँ
नींबू रस और आँवला रस मिलाकर सिर पर लगा दो अथवा तो केवल आँवले का रस लगा दो । १५ – २० मिनट बाद नहाओ तो आँवले का रस सिर की गर्मी खींच लेगा ।
बाल जल्दी सफेद नहीं होंगे और बालों की जड़े कमजोर नहीं होगी, बाल बने रहेंगे । यदि आँवले का रस नही मिले तो आँवले के चूर्ण को रात को पानी में भिगो दो और सुबह उसीका उपयोग कर लो ।
आरती में कपूर का उपयोग
कपूर – दहन में बाह्य वातावरण को शुद्ध करने की अदभुत क्षमता है । इसमें जीवाणुओं, विषाणुओं तथा सूक्ष्मतर हानिकारक जीवाणुओं को नष्ट करने की शक्ति है । घर में नित्य कपूर जलाने से घर का वातावरण शुद्ध रहता है, शरीर पर बीमारियों का आक्रमण आसानी से नहीं होता, दु:स्वप्न नहीं आते और देवदोष तथा पितृदोषों का शमन होता है ।