गौठानों की सफलता से विचलित भाजपाई निराधार आरोप लगा रहे हैं : अभय नारायण राय
बिलासपुर 25 मई 2023। छत्तीसगढ़ में 2018 में भूपेश बघेल सरकार बनने के बाद गांव, गरीब, किसान, और गौपालकों की समृद्धि को लेकर क्रांतिकारी कदम भूपेश सरकार ने उठाये। नरवा, घुरवा, गरूवा, बारी छत्तीसगढ़ के चार चिन्हारी को अपना आदर्श वाक्य मानते हुए सरकार ने अपना काम शुरू किया। गरीब और कृषि श्रमिकों सहित ग्रामीणों ने अतिरिक्त आमदनी का जरिया बनाकर गोधन न्याय योजना के तहत गोबर बेचकर अपने आप को स्वालंबी बनाया और आर्थिक रूप से सक्षम हुआ। छत्तीसगढ़ में 10624 गौठान बनाये गये जिसमें से 5709 गौठान अब स्वालंबी बन चुके हैं। जो स्वयं के कमाई से गौठान का संचालन कर रहे हैं और लाभांश भी प्राप्त कर रहें हैं। योजना के अंतर्गत कोई भी राशि का भुगतान नगद नहीं होता प्रत्येक 15 दिन में हितग्राहियों के खाते में राशि का अंतरण होता हैं, जो पूरी तरह से पारदर्शी हैं।
प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता एवं उपाध्यक्ष अरपा बेसिन विकास प्राधिकरण अभय नारायण राय ने जानकारी देते हुए बताया, प्रदेश में संचालित गौठानों में 14504 महिला स्वसहायता समूह के बहनों को अबतक लगभग 131 करोड़ 40 लाख का भुगतान हो चुका हैं। गौपालक समूहों को लगभग 460 करोड़ भुगतान हो चुका हैं। प्रदेश में पंजीकृत गौपालकों की संख्या 341713 हैं, विगत 3 सालों में पशुपालकों की संख्या में 24 प्रतिशत की वृद्धि हुई हैं। 2 अक्टूबर 2022 से प्रत्येक ब्लॉक की दो-दो गौठान को रीपा परियोजना में परिवर्तित किया गया है, जहाँ औद्योगिक गतिविधियां प्रारंभ हैं। गौठान ग्रामीण अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं, भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को गौठान की अवधारणा को समझना होगा। केवल विरोध के लिए विरोध करना छत्तीसगढ़ की जनता बर्दाश्त नहीं करेगी।
अभय नारायण राय ने कहा कि गौठान की उपयोगिता एवं सफलता से भाजपाई विचलित हो गये हैं और निराधार आरोप लगा रहे हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की यह सफलता हैं कि भाजपाई गौठानों का चक्कर लगाने पर मजबूर हुए।