विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण की समय-सीमा बढ़ी : नया कार्यक्रम जारी

रायपुर। भारत निर्वाचन आयोग (ECI) ने 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में चल रहे विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) कार्यक्रम की समय-सीमा में सात दिनों का विस्तार किया है। आयोग ने इस संबंध में अपने पुराने निर्देश को निरस्त करते हुए एक संशोधित कार्यक्रम जारी किया है। अब मतदाता सूची से संबंधित पूरी प्रक्रिया — जिसमें घर-घर जाकर सत्यापन (एन्यूमरेशन), मतदान केंद्रों का पुनर्गठन, मसौदा सूची का प्रकाशन, और दावे-आपत्तियां शामिल हैं — नई घोषित तिथियों के अनुसार संपन्न होगी।
इन क्षेत्रों पर लागू होगा विस्तार
यह अवधि विस्तार उन सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों पर लागू होगा जहाँ पहले से ही SIR प्रक्रिया चल रही थी। इन क्षेत्रों की सूची में निम्नलिखित शामिल हैं:
अंडमान और निकोबार द्वीप समूह
छत्तीसगढ़
गोवा
गुजरात
केरल
लक्षद्वीप
मध्य प्रदेश
पुडुचेरी
राजस्थान
तमिलनाडु
उत्तर प्रदेश
पश्चिम बंगाल
आयोग ने इस कदम को मतदाता सूची को अधिक त्रुटिरहित और अद्यतन (accurate and updated) बनाने के लिए आवश्यक बताया है।
नई अंतिम तिथि
SIR को पूरा करने की पिछली अंतिम तिथि 4 दिसंबर थी, जिसे सात दिन बढ़ाकर अब 11 दिसंबर 2025 कर दिया गया है।
विशेष पुनरीक्षण का संशोधित कार्यक्रम
| प्रक्रिया | पुरानी समय-सीमा (अनुमानित) | नई अंतिम समय-सीमा |
| एन्यूमरेशन (घर-घर सत्यापन) | 4 दिसंबर 2025 तक | 11 दिसंबर 2025 तक |
| मतदान केंद्रों का पुनर्गठन/पुनर्व्यवस्था | 4 दिसंबर 2025 तक | 11 दिसंबर 2025 तक |
| कंट्रोल टेबल अपडेट और मसौदा सूची तैयार करना | – | 12 से 15 दिसंबर 2025 तक |
| मसौदा मतदाता सूची का प्रकाशन | 5 दिसंबर 2025 | 16 दिसंबर 2025 |
| दावे और आपत्तियाँ दाखिल करना | 5 दिसंबर से 4 जनवरी | 16 दिसंबर 2025 से 15 जनवरी 2026 तक |
| दावे और आपत्तियों का सत्यापन, सुनवाई और निपटारा | 5 दिसंबर से 30 जनवरी | 16 दिसंबर 2025 से 7 फरवरी 2026 तक |
| यह प्रक्रिया निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी (ERO) द्वारा समानांतर रूप से चलाई जाएगी। |
लाभ
इस विस्तार से नागरिकों को मतदाता सूची में नाम जोड़ने, हटाने या विवरण में संशोधन करने के लिए पर्याप्त अतिरिक्त समय मिलेगा। साथ ही, बूथ लेवल ऑफिसर (BLO) और ERO स्तर पर सत्यापन और सुनवाई की प्रक्रिया को भी और अधिक सुदृढ़ बनाने में मदद मिलेगी। आयोग का लक्ष्य है कि अंतिम प्रकाशित मतदाता सूची पूरी तरह से गलती रहित (error-free) हो।
















