Video news पंचायत सचिव संघ ने बाइक रैली निकाल कर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के नाम कलेक्टर को सौपा ज्ञापन
0 राजेश कुमार कांकेर ब्यूरो
*नारायणपुर जिला में पंचायत सचिव संगठन अपनी एक सूत्रीय मांग परिवीक्षा अवधि पश्चात शासकीय करण को लेकर जिला मुख्यालय में विशाल बाइक रैली निकालकर माननीय मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी के नाम कलेक्टर को ज्ञापन दिया गया । जिला के सभी सचिव विगत 16 मार्च से जिला मुख्यालय में काम बंद कलम बंद हड़ताल पर बैठे हुए हैं । हड़ताल का 28दिन पूर्ण होने के बाद भी शासन प्रशासन द्वारा वार्तालाप नहीं करने के कारण सचिवों में रोष व्याप्त है , पंचायत सचिव के हड़ताल में चले जाने से शासन की महत्वकांक्षी योजना सामाजिक आर्थिक सर्वेक्षण, बेरोजगारी भत्ता फार्म ,राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन मजदूर न्याय योजना ,किसान न्याय योजना ,गोबर खरीदी, रिपा कार्य, गौठान के समस्त कार्य ,मनरेगा के कार्य ,जन्म मृत्यु पंजीयन ,राशन कार्ड ,प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास, सामाजिक सहायता कार्यक्रम अंतर्गत वृद्धा पेंशन ,विधवा पेंशन, दिव्यांग पेंशन, सामाजिक सुरक्षा पेंशन ,सुखद सहारा पेंशन, मुख्यमंत्री पेंशन ,राष्ट्रीय परिवार सहायता योजना, श्रद्धांजलि योजना, पेयजल आपूर्ति,शौचालय निर्माण ,वन अधिकार पट्टा वितरण ,स्वामित्व योजना सर्वेक्षण ,ग्राम सभा ,बजट निर्माण, समस्त निर्माण कार्य एवं वित्तीय वर्ष के अंतिम होने से लेखा-जोखा के कार्य पूर्ण रूप से प्रभावित है । जिला मुख्यालय में आज बाइक रैली निकालकर माननीय भूपेश बघेल जी मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ के नाम कलेक्टर को ज्ञापन दिया गया । इसके बाद भी शासन हमारी मांगों को गंभीरता से नहीं लेगी तो प्रदेश संगठन के निर्णय अनुसार आगामी 14 अप्रैल अंबेडकर जयंती के दिन होने वाली ग्राम सभा का बहिष्कार करते हुए नारायणपुर जिला मुख्यालय में धरना स्थल पर विशाल सभा का आयोजन किया जाएगा जिसमें ब्लॉक के सभी नीचे स्तर के जनप्रतिनिधि सम्मानीय सरपंच गणों की उपस्थिति में माननीय मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा जाएगा । शासन द्वारा सचिवों के शासकीय करण के संबंध में कोई पहल नहीं करते हुए 24 घंटा में वापस लौटने का अल्टीमेटम जारी किया गया था जिसे धरना स्थल में आदेश की प्रति को जलाकर विरोध प्रदर्शन किया गया । यदि हमारी मांगों पर शासन प्रशासन द्वारा गंभीरतापूर्वक विचार नहीं किया जाता है तो प्रदेश संगठन के मार्गदर्शन में उग्र बआंदोलन करते हुए क्रमिक भूख हड़ताल , भूख हड़ताल ,आमरण अनशन करने के लिए संगठन बाध्य होगा*।