मध्यप्रदेश

बाबा महाकाल की नगरी उज्जैन : अब बन रही है ग्रीन एनर्जी हब

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने किया ₹8000 करोड़ की औद्योगिक इकाइयों का शिलान्यास और लोकार्पण

भोपाल (एजेंस)। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने उज्जैन और शाजापुर में आयोजित एक विशाल औद्योगिक कार्यक्रम को प्रदेश की हरित ऊर्जा क्रांति की ऐतिहासिक शुरुआत बताया। उन्होंने घोषणा की कि बाबा महाकाल की नगरी अब देश के एक प्रमुख ग्रीन एनर्जी हब के रूप में तेजी से विकसित हो रही है। मुख्यमंत्री ने ज़ोर देकर कहा कि मक्सी और बरंडवा में स्थापित होने वाली अत्याधुनिक सोलर उपकरण निर्माण इकाइयाँ राष्ट्रीय ऊर्जा सुरक्षा को सुदृढ़ करेंगी और मध्य प्रदेश को हरित ऊर्जा तकनीक का अग्रणी केंद्र बनाएंगी।

उन्होंने उज्जैन, देवास और शाजापुर के उभरते हुए औद्योगिक त्रिकोण (इंडस्ट्रियल ट्रायएंगल) को प्रदेश की आर्थिक गति, औद्योगिक गहराई और निवेश क्षमता के लिए नए आयाम देने वाला बताया, जिसे उन्होंने राज्य की दीर्घकालिक विकास संरचना का नया अध्याय कहा।

युवाओं के भविष्य में निवेश: रोज़गार और प्रगति

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने इन औद्योगिक इकाइयों के शिलान्यास को युवाओं के भविष्य में निवेश करार दिया। उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं से प्रदेश के हज़ारों युवाओं को गुणवत्तापूर्ण, कौशल-आधारित और स्थायी रोज़गार के अवसर मिलेंगे, जो मध्य प्रदेश की युवा शक्ति को नए क्षितिजों तक ले जाने वाली एक परिवर्तनकारी शुरुआत है।

यह बात उन्होंने रविवार को उज्जैन की तराना तहसील के बरंडवा गाँव में जैक्सन कंपनी के मेगा सोलर प्लांट के शिलान्यास समारोह में कही।

मेगा निवेश और उत्पादन का लक्ष्य

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने जैक्सन इंटीग्रेटेड की ₹7,104 करोड़ की लागत वाली अत्याधुनिक 6 गीगावाट एकीकृत सोलर उपकरण निर्माण इकाई और जैक्सन इंजीनियरिंग लिमिटेड की ₹1,046 करोड़ की इकाई का फेज़-2 के तहत 110 एकड़ भूमि पर शिलान्यास किया। इन दोनों इकाइयों के माध्यम से 4,000 से अधिक युवाओं को सीधा रोज़गार प्राप्त होगा। इन उद्योगों के आने से आस-पास के गाँवों और कस्बों में न सिर्फ़ रोज़गार बढ़ेगा, बल्कि आर्थिक गतिविधियों और छोटे व्यवसायों में भी तेज़ी आएगी।

परियोजना पूरी होने के बाद, उज्जैन ज़िले का नाम सोलर उपकरण मैन्युफैक्चरिंग के राष्ट्रीय मानचित्र पर प्रमुखता से अंकित हो जाएगा, जो देश के ग्रीन एनर्जी मिशन में एक महत्वपूर्ण योगदान देगा।

मध्य प्रदेश: निवेश के लिए पसंदीदा गंतव्य

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि आज का दिन केवल उद्योगों का नहीं, बल्कि हमारे युवाओं के भविष्य का शिलान्यास है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि मध्य प्रदेश निवेश के लिए देश का पसंदीदा स्थान बन गया है। उन्होंने अपनी सरकार की नीति को स्पष्ट करते हुए कहा, “उद्योग लगाइए, सरकार आपके साथ है।”

उन्होंने उज्जैन, देवास और शाजापुर को प्रदेश का नया इंडस्ट्रियल ट्रायएंगल बताते हुए उल्लेख किया कि राज्य में 320 से अधिक औद्योगिक क्षेत्र, 1.25 लाख एकड़ का लैंड बैंक, और तेज़ अनुमति प्रणाली उद्योगों को स्थापित करने में बड़ी आसानी प्रदान कर रही है। उन्होंने अपनी बात दोहराई, “बाबा महाकाल की नगरी अब हरित ऊर्जा की नगरी बनने की ओर अग्रसर है।”

जैक्सन समूह का मध्य प्रदेश पर विश्वास

जैक्सन समूह के चेयरमैन श्री समीर गुप्ता ने बताया कि परियोजना का पहला चरण जुलाई 2026 तक पूरा कर लिया जाएगा और उत्पादन शुरू हो जाएगा। उन्होंने कहा कि कई अन्य राज्यों से न्योता मिलने के बावजूद उन्होंने मक्सी को चुना, क्योंकि प्रदेश की नीतियाँ बेहतर हैं और निवेशकों के लिए अनुकूल वातावरण उपलब्ध है। उन्होंने मुख्यमंत्री डॉ. यादव के विकास-उन्मुख दृष्टिकोण और उद्योगों के प्रति सहयोगात्मक रवैये की सराहना की, जिसने उन्हें मक्सी में निवेश करने के लिए प्रेरित किया।

श्री गुप्ता ने यह भी कहा कि मध्य प्रदेश की विकास गति और मुख्यमंत्री की कार्यशैली उन्हें प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के राष्ट्रीय विकास मॉडल के समान दिखती है। इसी विश्वास के साथ वे यहाँ निवेश कर रहे हैं कि प्रदेश आने वाले वर्षों में ग्रीन एनर्जी और टेक्नॉलॉजी हब के रूप में अपनी पहचान बनाएगा।

मक्सी में नई इकाइयों का विस्तार

कार्यक्रम में, ज़िला शाजापुर के मक्सी फेज़-1 में लगभग ₹24 करोड़ के निवेश से चार नई इकाइयों का शिलान्यास और लोकार्पण भी हुआ। इसमें आदित्य वृद्ध पैकेजिंग और पुष्टि फार्मा कैम का शिलान्यास तथा रुक्मणी एंड सन्स और पोको प्रोटीन्स का लोकार्पण किया गया। इन इकाइयों के शुरू होने से 200 से अधिक स्थानीय युवाओं को रोज़गार प्राप्त होगा, जिससे मक्सी क्षेत्र के इंडस्ट्रियल हब के रूप में विकसित होने की व्यापक संभावनाएँ बढ़ गई हैं।

विशाल औद्योगिक पार्क की योजना

शाजापुर और देवास ज़िलों में पीपलरावा-पोलायकला क्षेत्र में 476 हेक्टेयर से अधिक भूमि पर एक नया विशाल औद्योगिक पार्क विकसित किया जाएगा। इस परियोजना की अनुमानित लागत ₹500 करोड़ से अधिक है, और इसमें 200 से 300 नई औद्योगिक इकाइयों की स्थापना होगी। इससे क्षेत्र में 40 से 50 हज़ार प्रत्यक्ष और 60 हज़ार से अधिक अप्रत्यक्ष रोज़गार के अवसर पैदा होंगे। यह औद्योगिक क्षेत्र स्थानीय युवाओं, किसानों, परिवहन, लघु उद्योग और एमएसएमई इकाइयों की आर्थिक समृद्धि का नया केंद्र बनेगा।

छोटे और मध्यम उद्योगों को बढ़ावा

शाजापुर ज़िले में सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (MSME) क्षेत्र की बढ़ती माँग को देखते हुए ग्राम भदौनी, रामनगरखेड़ी और खेड़ाखेड़ी की सीमाओं के बीच एक नया औद्योगिक पार्क विकसित किया जा रहा है। 40.470 हेक्टेयर क्षेत्रफल वाले इस औद्योगिक क्षेत्र की कुल विकास लागत लगभग ₹30.55 करोड़ है।

इस परियोजना का मुख्य उद्देश्य ज़िले में छोटे, लघु और मध्यम उद्योगों को बेहतर बुनियादी ढाँचा (इंफ्रास्ट्रक्चर), सुविधाएँ और विस्तार का अवसर उपलब्ध कराना है। पार्क में औद्योगिक इकाइयों की स्थापना के बाद लगभग ₹2,500 करोड़ के निवेश की संभावना है, जिससे करीब 4 हज़ार युवाओं को प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रोज़गार मिलने की उम्मीद है।

कार्यक्रम में उपस्थिति

इस कार्यक्रम में उच्च शिक्षा, आयुष एवं शिक्षा मंत्री श्री इंदर सिंह परमार, लोकसभा सांसद बालयोगी श्री उमेशनाथ जी महाराज, सांसद श्री अनिल फिरोजिया और श्री महेंद्र सिंह सोलंकी उपस्थित रहे। इनके अतिरिक्त, क्षेत्र के विधायक और अन्य जनप्रतिनिधि भी मौजूद थे।

औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन विभाग के प्रमुख सचिव श्री राघवेंद्र कुमार सिंह, एमडी एमपीआईडीसी श्री चंद्रमौलि शुक्ला और कार्यकारी निदेशक एमपीआईडीसी उज्जैन श्री राजेश राठौर भी इस अवसर पर उपस्थित थे।

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