
नई दिल्ली (एजेंसी)। सरकार ने निर्यातकों को बड़ी राहत प्रदान करते हुए उनके लिए ₹20,000 करोड़ तक की एक विशेष क्रेडिट गारंटी योजना की घोषणा की है। यह कदम ऐसे समय में उठाया गया है जब भारतीय वस्तुओं के निर्यातकों को वैश्विक भू-आर्थिक चुनौतियों, जैसे कि अमेरिका में बढ़े हुए आयात शुल्क, का सामना करना पड़ रहा है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में निर्यातकों के लिए क्रेडिट गारंटी योजना (सीजीएसई) शुरू करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई।
योजना के मुख्य लाभ और प्रावधान
जमानत-मुक्त ऋण: इस योजना के तहत निर्यातकों को उनकी वर्तमान स्वीकृत निर्यात कार्यशील पूंजी सीमा के 20 प्रतिशत तक अतिरिक्त कार्यशील पूंजी ऋण बिना किसी जमानत के उपलब्ध कराया जाएगा।
कम ब्याज दर: सरकार ने इस ऋण पर लगने वाले ब्याज की दर की भी सीमा तय कर दी है, जिससे निर्यातकों पर वित्तीय बोझ कम हो सके।
गारंटी प्रदान: इस योजना के तहत बैंकों से निर्यातकों को ऋण आसानी से मिल सके, इसके लिए सरकार राष्ट्रीय क्रेडिट गारंटी न्यास कंपनी (एनसीजीटीसी) के माध्यम से शत-प्रतिशत गारंटी उपलब्ध कराएगी।
प्रतिस्पर्धात्मकता और बाज़ार विस्तार
सूचना एवं प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मंत्रिमंडल के निर्णयों की जानकारी देते हुए बताया कि यह योजना मौजूदा वैश्विक भू-आर्थिक स्थिति को देखते हुए लाई गई है, जिसमें कुछ देशों की नीतियां अन्य देशों के लिए समस्याएं पैदा कर रही हैं। यह योजना भारतीय निर्यातकों को संरक्षण देने के उद्देश्य से है।
उन्होंने आगे कहा कि इस पहल से वैश्विक बाज़ार में भारतीय निर्यातकों की प्रतिस्पर्धा करने की क्षमता बढ़ेगी और वे नए बाज़ारों की ओर रुख करने में सक्षम होंगे। विभिन्न मंत्रालयों ने निर्यातकों के साथ गहन विचार-विमर्श के बाद इस योजना को शुरू किया है।
यह योजना 31 मार्च 2026 तक लागू रहेगी।
















