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बिना पत्नी के प्रधानमंत्री कोठी में रहना गलत : लालू यादव

पटना (एजेंसी)। अपने ठेठ अंदाज और चुटीले बयानों के लिए मशहूर राजद सुप्रीमो लालू यादव ने विपक्ष की ओर से प्रधानमंत्री पद का चेहरा कौन और राहुल गांधी को दी गई शादी की सलाह पर दोतरफा तंज कसा है। इस दौरान लालू ने यह भी जताया कि लोकसभा चुनाव 2024 में वह भारतीय जनता पार्टी से दो-दो हाथ करने के लिए तैयार हैं। वह विपक्षी दलों की एकता के लिए बेंगलुरु में होने वाली बैठक में भी शामिल होंगे।

लालू यादव ने गुरुवार को पटना में मीडिया से बात करते हुए कहा कि ब्लड टेस्ट कराने का टाइम हुआ है। ये दिल्ली में ही होता है। दिल्ली जा रहा हूं। इसके बाद से लौटके आना है और जाना है, बेंगलुरु जाना है। नरेंद्र मोदी की विदाई की तैयारी कराना है। फिर लौटकर आएंगे तो आप लोगों से बात करेंगे।

बता दें कि दिल्ली जाने से पहले लालू यादव की ओर से दिए गए इस बयान से जुड़ा एक वीडियो इंटरनेट मीडिया पर काफी देखा और साझा किया जा रहा है।

विपक्षी दलों की एकता का अभी पहला अध्याय हुआ: लालू

विपक्षी दलों की एकता को लेकर लालू ने यह भी कहा कि अभी पहला अध्याय हुआ है। हम लोग पटना में बैठे थे। अगला अभी बेंगलुरु में होने वाला है। उन्होंने कहा कि हम लोग इकट्ठा हो रहे हैं, 17 पार्टी के लोग।

इस दौरान भाजपा के गीदड़ वाले बयान को लेकर पूछे जा रहे सवाल पर एक महिला पत्रकार को अपने ठेठ अंदाज में टोकते हुए लालू ने कहा कि उनका कहना था तो वो कहते रहें।

हम जो कह रहे हैं, वो कहेंगे न। वो उनका कहना है, कहते रहेंगे, क्योंकि वो जा रहे हैं। वो नहीं चाहते हैं कि चर्चा इस पर हो, तो उनका इस बार सफाया होगा। शरद पवार मजबूत नेता हैं। ये भतीजे का क्या असर है?

राजनीति में कोई रिटायर नहीं होता: लालू

लालू यादव ने अजित पवार के उस बयान पर भी प्रतिक्रिया दी जिसमें अजित ने शरद पवार को रिटायर होने की सलाह दी है। लालू ने इस मामले में कहा कि उनके कहने से रिटायर हो जाएंगे। बूढ़ा आदमी रिटायर होता क्या? राजनीति में कोई रिटायर नहीं होता।

पत्नी के साथ रहें: लालू

लालू यादव से विपक्ष की ओर से पीएम पद के लिए चेहरे और राहुल गांधी को दी गई उनकी शादी की सलाह को लेकर भी सवाल पूछा गया। इस पर उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि प्रधानमंत्री; प्रधानमंत्री… बिना पत्नी के लोग जो रहते हैं, प्रधानमंत्री के कोठी में यह बहुत गलत है, ये खत्म करना चाहिए और जो भी हो पत्नी के साथ रहें।

बहरहाल, इससे पहले बुधवार को बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और राजद सुप्रीमो लालू यादव ने पार्टी के स्थापना दिवस पर भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा था। उन्होंने ललकारने वाले अंदाज में कहा था कि साल 1977 में भी कुछ ऐसे हालत बने थे। तभी भी लालू को हटाने और मिटाने की कोशिश की गई थी, तब हमको राजद का गठन करना पड़ा था। आज भी मिटाने-झुकाने वाले अपनी हरकतों में लगे हुए हैं, लेकिन नरेंद्र मोदी को पता नहीं है कि लालू डरने या झुकने वाला नहीं है।

इससे पहले लालू ने पटना में पार्टी कार्यालय के परिसर में राजद का झंडा फहराकर पार्टी के 27वें स्थापना दिवस समारोह का शुभारंभ किया था। बता दें कि वर्ष 1997 में पांच जुलाई को राजद का गठन हुआ था। इस दौरान लालू ने पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि 1977 से आज तक पार्टी ने कई दौर देखे हैं।

लालू ने इस दौरान यह भी कहा था कि आज देश में उथल-पुथल का दौर है। भाईचारे को रौंदा जा रहा है। राम-रहीम के बंदों को तोड़ा जा रहा है। देश को विद्वेष और वैमनस्यता की ओर धकेला जा रहा है। बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर ने जो आरक्षण दिया था, फासीवाद और सांप्रदायिक ताकतें उसे समाप्त करने में जुटी हैं। हालांकि, हम ऐसा होने नहीं देंगे। इस दौरान लालू ने महंगाई को लेकर भी निशाना साधा था। उन्होंने कर्नाटक में भाजपा को मिली हार को लेकर भी हमला बोला था।

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